Mahashivratri 2025 Live: महाशिवरात्रि आज, जलाभिषेक का समय, सामग्री, पूजन विधि देखें

Mahashivratri 2025 Live: महाशिवरात्रि आज जलाभिषेक का समय, सामग्री, पूजन विधि देखें

Mahashivratri Puja Vidhi Shubh Muhurat LIVE Updates: महाशिवरात्रि के दिन 24 घंटे शिवालय में पूजा, धार्मिक अनुष्ठान होते हैं. इस दिन शुभ मुहूर्त में जलाभिषेक करना श्रेष्ठ फलदायी होता है.

Mahashivratri Puja Mantar: महाशिवरात्रि पूजा मंत्र
“ॐ ऐं ह्रीं शिव गौरीमय ह्रीं ऐं ऊं”

‘ऊं नम: शिवाय’

सांब सदा शिव

ॐ अघोराय नमः

ॐ श्रीकंठाय नम:

ॐ तत्पुरुषाय नम:

ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम् | उर्वारुकमिव बन्धनान्मृत्योर्मुक्षीय माऽमृतात् ||
Mahashivratri Puja Vidhi: महाशिवरात्रि पर शिव पूजा की सही दिशा
महाशिवरात्रि पर शिवलिंग का जलाभिषेक करते वक्त मुख उत्तर दिशा की ओर रखें. ध्यार रहे पूर्व दिशा की ओर मुख करके जल न चढ़ाएं क्योंकि ये दिशा भगवान शिव का प्रवेश द्वार मानी जाती है.

Mahashivratri Belpatra Upay: शिवलिंग पर बेलपत्र कैसे चढ़ाएं
शिवलिंग पर तीन पत्तियों वाला बेलपत्र शिवलिंग पर अर्पित करना बेहद शुभ होता है. बेलपत्र शिव को अति प्रिय है. महाशिवरात्रि पर शिवलिंग पर शाम के समय बेलपत्र ऐसे चढ़ाएं जिससे उसका चिकना भाग शिवलिंग से स्पर्श होने चाहिए. अपनी मनोकामना बोलें और फिर बेलपत्र को उठाकर अपने पास तिजोरी में रखें. धार्मिक मान्यता है कि इससे धन का आगमन बढ़ता है.
Mahashivratri 2025: घर में कैसे होना चाहिए शिवलिंग
मंदिरों में शिवलिंग का आकार बढ़ा होता है लेकिन घर के लिए शिवलिंग का आकार छोटा होना चाहिए, खास तौर पर, यह अंगूठे के आकार से बड़ा नहीं होना चाहिए. महाशिवरात्रि पर घर में इतने ही छोटे शिवलिंग की पूजा करें.

Mahashivratri Jalabhishek 2025: महाशिवरात्रि पर राशि अनुसार अभिषेक
मेष राशि – जल में केसर डालकर चढ़ाएं
वृषभ राशि – शिवलिंग पर दूध और सफेद फूल चढ़ाएं
मिथुन राशि – शिव जी पर बेलपत्र अर्पित करें.
कर्क राशि – दही से शिवलिंग का अभिषेक.
सिंह राशि – शिवलिंग पर शहद अर्पित करें.
कन्या राशि – गन्ने का रस चढ़ाएं.
तुला राशि – घी की धारा बनाकर शिव जी पर चढ़ाएं.
वृश्चिक राशि – कनेर और लाल चंदन चढ़ाएं
धनु राशि – केले का भोग लगाएं, धतूरा अर्पित करें.
मकर राशि – शिवलिंग पर शमी पत्र चढ़ाएं
कुंभ राशि – तेल से अभिषेक करें.
मीन राशि – भांग और भस्म शिव जी को चढ़ाएं

Mahashivratri 2025 Char Prahar Puja Time: महाशिवारत्रि चार प्रहर पूजा मुहूर्त

Mahashivratri Puja Samagri: महाशिवरात्रि पूजन सामग्री लिस्ट
मिट्टी के दीपक 5, अक्षत, केसर, जौ, पीली सरसों, सुपारी, बेलपत्र, इत्र, गुलाब के फूल, जनेऊ, पान का पत्ता, लौंग, इलायची, तिल, भस्म, भांग, कुमकुम, सिंदूर, मौली, शिवलिंग के लिए मिट्टी, धातु के शिवलिंग भी ले सकते हैं, धतूरा, पंचामृत (दूघ, दही, घी, शहद, शक्कर) आम के पल्लव, हवन सामग्री, गंगाजल

Mahashivratri 2025 Muhurat: महाशिवरात्रि पूजा का मुहूर्त

पूजा मुहूर्त
देर रात 12:09 – प्रात: 12:59, फरवरी 27
फाल्गुन कृष्ण चतुर्दशी तिथि शुरू 26 फरवरी 2025, सुबह 11.08
फाल्गुन कृष्ण चतुर्दशी तिथि समाप्त 27 फरवरी 2025, सुबह 8.54
आ गई शिव की प्रिय रात महाशिवरात्रि, इसे महारात्रि भी कहा जाता है. 26 फरवरी 2025 को महाशिवरात्रि का पावन त्योहार पूरे देश में धूमधाम से मनाया जाएगा. शिव अनादि तथा सृष्टि प्रक्रिया के आदि स्रोत हैं. उनका काल और महाकाल स्‍वरूप ही ज्योतिषशास्त्र के आधार हैं.

त्रिदेवों में भगवान शिव संहार के देवता माने गए हैं. कई जगर भोलेनाथ को आदियोगी के रूप में भी पूजा जाता है. धार्मिक मान्यता है कि महाशिवरात्रि की रात माता पार्वती और भोलेनाथ विवाह के बंधन में बंधे थे. साथ ही इसी दिन एक दिव्य ज्योति के रूप में शिवलिंग में शंकर जी का प्राकट्य हुआ था.

शिव पुराण के अनुसार जो लोग महाशिवरात्रि का व्रत कर शिव और शक्ति की उपासना करते हैं उनके वैवाहिक जीवन में सुख का आगमन होता है साथ ही कुंवारे लोगों को विवाह के लिए सुयोग्य जीवनसाथी की प्राप्ति होती है.

महाशिवरात्रि का महत्व (Mahashivratri Significance)

शिवपुराण के अनुसार प्राचीन समय में फाल्गुन मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी की रात भगवान शिव लिंग के रूप में प्रकट हुए थे. जब शिवलिंग प्रकट हुआ था, तब भगवान ने आकाशवाणी की थी कि इस तिथि रात जागकर जो भक्त शिवलिंग का पूजन करेंगे, उन्हें शिव की विशेष कृपा मिलेगी. मान्यता है कि शिवरात्रि की रात भगवान शिव और माता पार्वती पृथ्वी का भ्रमण करते हैं.

महाशिवरात्रि पर महाकुंभ का आखिरी स्नान

इस साल महाशिवरात्रि पर बेहद दुर्लभ संयोग बना है. इस दिन महाकुंभ में आखिरी शाही स्नान किया जाएगा. महाशिवरात्रि पर बनारस में भी श्रद्घालुओं की भीड़ उमड़ी है. कहते हैं जो लोग महाशिवरात्रि पर गंगा स्नान करते हैं उनके इस जन्म और पिछले जन्म के समस्त पाप धुल जाते हैं और जीवन में आनंद का अनुभव होता है.

शिवरात्रि पूजन का प्रभावशाली मंत्र (Shivratri Puja Mantra)

शिवरात्रि की पूजा में महामृत्युंजय मंत्र का लगातार जाप करना शुभ होता है- ऊँ त्र्यम्‍बकं यजामहे सुगन्धिंपुष्टिवर्धनम् उर्वारुकमिव बन्‍धनान् मृत्‍योर्मुक्षीय मामृतात्।

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